जलवायु परिवर्तन और स्वास्थ्य पर एवीएम में युवा सेमिनार आयोजित..अपनी प्रतिरोध क्षमता बढ़ाएं-कैप्टन श्रीनिवास…..एवीएम न्यू सैनिक स्कूल और इर्विन होप द्वारा युवा सेमिनार का आयोजन…..
बिलासपुर–आधारशिला विद्या मंदिर न्यू सैनिक स्कूल में शनिवार 27 जुलाई को ‘जलवायु परिवर्तन और स्वास्थ्य’ के संबंध में सेमिनार का आयोजन किया गया।इस कार्यक्रम में आधारशिला विद्या मंदिर, कृष्णा पब्लिक स्कूल, मॉडर्न एजुकेशनल स्कूल के छात्र छात्राओं ने भी इस कार्यशाला में अपनी सहभागिता दर्ज की । साथ ही शहर के विद्वान, और कई एनजीओ के युवा कार्यकर्ता जैसे ख्वाब वेलफेयर फॉउंडेशन, धिति फॉउंडेशन ,यूथ संस्कार फॉउंडेशन व दहलीज फॉउंडेशन भी शामिल हुए।
इस कार्यक्रम में अमेरिका की गैर लाभकारी संस्था इर्विन होप द्वारा इस विषय पर वैज्ञानिक दृष्टि से साझी समझ निर्मित करने का प्रयास किया गया | इर्विन होप कैल्फ़ोर्निया की एक गैर लाभकारी संस्था है। यह संगठन 02.09.2023 की फाइलिंग तिथि के साथ CA- सचिव राज्य के साथ पंजीकृत है। इस गैर लाभकारी संस्था की स्थापना अमेरिका में दसवीं कक्षा में पढ़ रही अन्निका चटर्जी(मुख्य परिचालन अधिकारी)एवं श्रेयन चटर्जी (सह-मुख्य परिचालन अधिकारी)ने संयुक्त रूप से की है। इस संस्था का मुख्य उद्देश्य वैश्विक स्तर पर जल प्रदूषण, वायु प्रदूषण , जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभाव तथा इससे उपजी स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति लोगों को जागरूक करना है।दोनों ही वक्ताओं ने बहुत ही विस्तार से जलवायु परिवर्तन के संबंध में चर्चा की और कई वैज्ञानिक तथ्यों के माध्यम से इस संकट पर साझा समझ विकसित की। इसमें मुख्य विषय ग्लोबल वार्मिंग, प्रदूषण, और मानव शरीर पर इनके प्रभाव के संबंध में चर्चा हुयी।इस कार्यक्रम में हाल ही में नोटिस किये गए ‘हीट वेव’ और सम्बंधित बीमारियों पर विशेष चर्चा हुयी।विद्यार्थियों ने छत्तीसगढ़ राज्य में आर्सेनिक रसायन की अधिकता तथा इससे उपजने वाली समस्याओं को भी वैज्ञानिक दृष्टिकोण से समझा।
विद्यालय में आयोजित इस कार्यशाला के अतिथि कैप्टन श्री निवास , लेफ्टिनेंट कर्नल सुभाष नारायण , विवेक जोगलेकर , मंसूर खान , रॉविन पुष्प , सुप्रिया भारतीयन , अभिजीत त्रिपाठी एवं प्रथमेश मिश्रा रहे । इस कार्यक्रम में न सिर्फ इस विषय को गहनता से समझा गया बल्कि इससे व्यक्तिगत, पारिवारिक और सामजिक तौर पर निपटने के लिए विभिन्न समाधान भी प्रस्तुत किये गए।पैनल डिस्कशन के दौरान प्रथमेश मिश्र ने पिछले 30-40 वर्षों में हुए बदलाव को रेखांकित किया। शिक्षाविद विवेक जोगलेकर ने कहा कि ग्लोबल वार्मिंग से निपटने के लिए हमें भारतीय संस्कृति और ज्ञान परंपरा से सीखने की आवश्यकता है।आज भी हमारी मान्यताओं में कई गहरे वैज्ञानिक तथ्य छुपे हैं।उन्होंने कई रिपोर्ट का उल्लेख करते हुए कहा कि आज पानी से ज्यादा आर्सेनिक हम चावल की वजह से खा रहे हैं क्योंकि हमारा चावल विषाक्त हो गया है। ऐसे में चावल को भीगो कर उसका पानी निकलने या उबले चावल का मांड (पानी) निकालने के ग्रामीण अभ्यास की तरफ उन्होंने ध्यान दिलाया। कप्तान श्रीनिवास ने विद्यार्थियों को योग, ध्यान और एन.एल.पी के माध्यम से खुद को मजबूत बनाने के अभ्यास सीखाये।उन्होंने कहा कि अगर हम अच्छा स्वास्थ्य विकसित करें तो हम बहुत खुशहाल और सस्टेनेबल जीवन जी सकते हैं।
इस अवसर पर विद्यालय के चेयरमैन डॉ. अजय श्रीवास्तव ने अर्वाइन होप संस्था के इस उद्देश्य की सराहना करते हुए कहा कि जलवायु परिवर्तन जैसी गंभीर समस्या से पूरा विश्व जूझ रहा है । ऐसे में आवश्यकता है कि हम एक जुट होकर इन विषयों पर विचार करें और आने वाली चुनौतियों का समाधान खोजने का साझा प्रयास करें। विद्यालय के डायरेक्टर श्री एस के जनास्वमी व प्राचार्या जी आर.मधुलिका की देखरेख एवं सक्रिय सहभागिता से यह कार्यक्रम सफलता पूर्वक सम्पन्न हुआ । इस अवसर पर उन्होंने स्मृति चिह्न देकर अतिथियों का धन्यवाद किया ।