
नशे के कारोबार पर नकेल कसने में नाकाम पुलिस……बेलगाम बदमाश नशे में मदमस्त……दे रहे आपराधिक घटनाओं को अंजाम…..आरोपियों तक पहुंचने में नाकाम पुलिस…..घटनाओं को अंजाम देने वाले आरोपी अबतक फरार……
बिलासपुर–छत्तीसगढ़ की न्यायधानी बिलासपुर में भले ही पुलिस नशे के खिलाफ चला रही मुहिम की सफलता के कसीदे और समय समय पर कार्रवाई का हवाला देकर नशे के कारोबार पर नियंत्रण का हवाला दे।वही उसके उलट आज भी नशे बाज बदमाश युवक खुलेआम नशा खोरी कर दबंगई और उत्पात मचाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे है।इन नशेबाज बदमाश युवकों के आगे कानून के रखवाले में बौने नजर आ रहे है।नशे का उन्माद के आगे कानून का डर नहीं रहा है।आपको बताते चले आज शहर का हाल यह हो गया कि कब चाकूबाजी और नशे बाज बदमाशों की भीड़ कब आप पर टूट पड़े यह कोई नहीं कह सकता।हालात इतने खराब है कभी भी आपके साथ कोई अप्रिय घटना घटित हो जाए यह कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी।इन नशेबाज बदमाशों युवकों में पुलिस विभाग में कार्यरत कर्मचारियों के साथ तीन से चार बड़ी आपराधिक घटनाएं सामने आ गई।जिसमें पुलिस के जवान ही इनके शिकार हुए और गंभीर चोटें आई।लेकिन कार्रवाई के नाम पर सिर्फ इन्हीं का विभाग ही खानापूर्ति कर मामला पंजीबद कर ठंडे बस्ते में डाल दिया।आपको बताते चले कि सोमवार के दिन में शहर के मुख्य बाजार और मुख्य मार्ग में चार से पांच मेडिकल नशे के आदि के अलावा आदतन बदमाशों ने मिलकर यातायात पुलिस विभाग के आरक्षक और उसके साथी पर बर्बरता पूर्वक हमला कर उनके साथ मारपीट की घटना को अंजाम देने के लिए रॉड लाठी और ईट से ताबड़तोड़ हमला कर अपनी दबंगई और और गुंडागर्दी का परिचय देते हुए जमकर उत्पात मचाया।बताया जा रहा की लगभग इस पूरे घटनाक्रम में लगभग पांच से दस मिनट तक इन नशेबाज आदतन बदमाशों ने अपना आतंक मचाते रहे।लेकिन इस इनके आतंक के सामने सब तमाशबीन बने रहे।लेकिन वहीं मारपीट की घटना होते देख वहीं सदर बाजार के व्यवसाई ने अपनी दुकान से निकलकर उनके बीच बीच बचाव कर आरक्षक और उसके साथी को इनसे बचाने का प्रयास किया।
आपराधिक मामले…..
आपको बताते चले कि इस घटना को अंजाम देने वाले आरोपियों में से दो सगे भाई है।जिनके खिलाफ चोरी लूट चाकूबाजी के अलावा आर्म्स एक्ट जैसे कई गंभीर मामले कायम है।जो न्यायलय में विचाराधीन है।इन सभी मामलों में आरोपी दोनों भाई जमानत में बाहर है।
एक भाई और सहयोगी फरार…...
इस घटना के समाने आने के बाद सिटी कोतवाली पुलिस की पेट्रोलिंग गाड़ी मौके पर पहुंच कर स्थिति को नियंत्रण करते हुए घटना में शामिल दो आरोपी सैफ और मनोज नाम के दो युवकों को गिरफ्तार कर लिया।वही दो अन्य आरोपी जैद और उसका साथी मौके से फरार हो गए।लेकिन इनको पकड़ने के लिए थाना स्तर से कोई भी टीम तैयार नहीं की गई।जो इनके संभावित ठिकाने में छापामार कार्रवाई करते हुए इनको पकड़कर सलाखों के पीछे डाल दे।ये आज भी खुलेआम घूम रहे है।क्या पुलिस कोई बड़ी घटना के घटित होने के बाद गंभीरता का परिचय देकर कानून व्यवस्था बनाने के कयावद में जुटेगी।
कहा से आ रहा है मेडिकल नशा…..?
बताया जा रहा की सोमवार की घटना को अंजाम देने वाले आरोपी सैफ और जैद के सदर बाजार वाले निवास में काफी संख्या में नशे बाज बदमाश युवकों का जमावड़ा लगा रहता और इस घर में जमकर नशाखोरी की जाती है।अब सवाल यह उठता है कि आखिर इन युवकों को नशे का समान कहा से मिल रहा है।जब पुलिस यह दावा कर रही कि नशे के खिलाफ चलाई जा रही मुहिम में बड़े बड़े नशे के कारोबारियों को जेल में डाल दिया गया तो फिर इनके पास मेडिकल नशा कहा से आ रहा है।यह भी एक शोध का विषय है।
होली के दिन पुलिस जवान के साथ मारपीट
कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच होली के पर्व को मनाने के लिए पुलिस विभाग ने रंग खेलने से एक दिन पूर्व शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में पेट्रोलिंग के जरिए आम जनता के बीच गई। लेकिन रंग खेलने वाले दिन में कोतवाली पेट्रोलिंग में तैनात महिला आरक्षक और वाहन चालक आरक्षक के साथ नशेबाज बदमाश युवकों ने मारपीट की घटना को अंजाम दिए।फिलहाल घटना के बाद मौके पर पुलिस टीम पहुंचकर आरोपियों को धरदबोचा और कार्रवाई कर इनको जेल दाखिल करा दिया।
पर इसके उलट तोरवा थाने में पदस्त प्रधान आरक्षक के साथ भी रंग खेलने वाले दिन में बॉम्बे अटल आवास के आदतन नशेबाज बदमाश लड़कों ने अकेले पाकर मारपीट कर जानलेवा हमले का प्रयास किया।वह तो समय रहते पुलिस टीम मौके पर पहुंचकर घायल प्रधान आरक्षक को भीड़ के बीच से निकाल कर उपचार के लिए भर्ती कराया गया।लेकिन होली त्यौहार के आज इतने दिन बीत जाने के बाद भी एक भी उस घटना में शामिल आरोपी को तोरवा पुलिस पकड़ नहीं पाई।जो अब तक फरार है।सूत्र के हवाले से यह बात निकलकर कर समाने आ रही कि थाना प्रभारी इस और कोई ध्यान नहीं दे रहे है।
आरक्षक के भाई के ऊपर जानलेवा हमलावर आरोपी फरार…….
इसी तोरवा थाने में पदस्त एक आरक्षक के भाई के ऊपर पिछले मार्च महीने में घर जाते समय तोरवा चौक और तोरवा पुल के बीच पेट्रोल पंप के पास चार पांच मोटरसाइकिल में सवार युवकों ने चाकू से जानलेवा हमला करते हुए आरक्षक के भाई और उसके साथी के सात मारपीट की घटना को अंजाम देकर फरार हो गए।आज तक इन आरोपियों को पकड़ा नहीं जा सका।जो अब तक फरार है।बताया जा रहा की आरक्षक के भाई के ऊपर चाकू से जिस तरह से हमला किया गया था वह बहुत दर्दनाक और भयानक था।क्योंकि चाकू रत्ती भर रह गया नहीं तो सीधे हृदय में जा घुसता।इस बीच आरक्षक भाई को गंभीर अवस्था में निजी अस्पताल में भर्ती कर उपचार कराया गया।पर आज तक इस घटना को अंजाम देने वाले आरोपियों के लिए कोई भी पुलिस टीम या मोबाइल फोन लोकेशन या इनके पते ठिकाने में पुलिस ने दबिश देने की जहमत तक नहीं उठाई।
बहरहाल यह तो वह घटनाएं जो सामने आ गई लेकिन उन घटनाओं का जो दबकर रह जाती है।जो उजागर नहीं हो पाती या दबा दी जाती है।कही न कही आज भी शहर में नशे का समान बहुत ही आसानी से इनको उपलब्ध हो रहा है।जो पुलिस की कार्रवाई और नाकामी की तरफ इंगित कर रहा है।समय रहते पुलिस विभाग को एक विशेष रणनीति के साथ नशे के खिलाफ कार्रवाई की आवश्यकता है।जिससे शहर में बढ़ते अपराध पर लगाम के अलावा पुलिस और कानून का डर बना रहे।नशे का कारोबार करने वाले सलाखों के पीछे सड़ते रहे।