
सत्ता पक्ष विपक्ष के नामदार रिश्तेदार लगा रहे थे हार जीत का दांव….पकड़ने के बाद भी पुलिस नहीं कर रही मामला उजागर…. किस बात का सिविल लाइन पुलिस को डर.. क्या हर बात पर एसएसपी की फटकार के बाद होगा काम…..
बिलासपुर- जिले के एसएसपी रजनेश सिंह द्वारा अपराध और नशे पर रोक लगाने के लिए प्रभावशाली नीति अपनाकर कार्रवाई की जा रही है, लेकिन जिले के कई थाने में एसएसपी साहब के नाक के नीचे लापवाही बरतने का काम थानेदारों द्वारा किया जा रहा है बिलासपुर की नाक कहें जाने वाले सिविल लाइन थाना क्षेत्र में एक बार फिर पुलिस की लुकाछिपी कार्रवाई सामने आई है, सूत्रों के मुताबिक बीती देर रात सिविल लाइन पुलिस द्वारा महाराणा प्रताप चौक के पास स्थित पैलेस में छापेमार कार्रवाई की गई जहां दिवाली का त्यौहार मनाने की आड़ में सत्ता पक्ष विपक्ष के नामदार और दलबदलु विधायक के कामदार लोगों द्वारा 52 पारियों के साथ अवैध काम किया जा रहा था, जैसे हो मामले की जानकारी पुलिस को मिली तो मौके पर पहुंचकर टीम ने 12 जुआरियों को हिरासत में लिए इतना ही नहीं पकड़े गए जुआरियों से लाखों रुपए की बरामदी भी हुई है, लेकिन 20 घंटे बीत जाने के बाद भी सिविल लाइन पुलिस द्वारा मामले को दबाकर रखा गया है, वहीं रसूखदारों के दबाव में पुलिस द्वारा नामो को उजागर भी नहीं किया जा रहा है,
जुए की कार्रवाई की जानकारी और मामले की सुगबुगाहट विभाग से लेकर मीडिया जगत में फैली हुई है इतना ही नहीं जिले के एक विधायक के दबाव की वजह से मामले को दबाने की बात भी चोरीछुपे सभी के जबान पर चल रही है एक ओर एसएसपी रजनेश सिंह द्वारा अपराध और अपराधियों को ठीक कर कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए है दूसरी ओर कई थानेदारों द्वारा एसएसपी साहब के आंख में धूल झोंकने का काम बड़ी सफाई के साथ किया जा रहा है.. देखने वाली बात होगी कि क्या इस मामले को लेकर सिविल लाइन थाना प्रभारी और अधिकारी एक बार फिर एसएसपी साहब की फटकार का इंतजार कर रही है, और क्या इस मामले को एसएसपी साहब के निर्देश मिलने के बाद सार्वजनिक किया जाएगा, या फिर धरपकड़ के इस खेल में नामदार रिश्तेदार अपना चोला साफ कर पीछे के दरवाजे से निकलने में कामयाब हो जाते है..




