निगम आयुक्त के निर्देश को दरकिनार कर बेजा कब्जा धारियों पर निगम के अधिकारी मेहरबान,अतिक्रमण की दिखावे की कार्रवाई के बाद शिथिल हुआ अमला
बिलासपुर–बिलासपुर नगर निगम इन दिनों अवैध बेजा कब्जाधारी और अवैध निर्माण को लेकर सुर्खियों में बना हुआ है।लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और बयां करती है।अभी हाल में ही नगर निगम के आयुक्त कुणाल दुदावत ने इंदु चौक में बन रहे नाले के ऊपर दिव्यांग फुटपाट के निर्माण में आने वाले अवैध बेजा कब्जा धारियों को हटाने का निर्देश दिया था।
उनके इस निर्देश का पालन करते हुए निगम के आला अधिकारी और निगम के इंजीनियर वहा पहुंच कर नाप जोक कर अवैध रूप से निर्माण करने वाले और कब्जाधारियों को सूचीबद्ध कर उन्हे चिन्हाकित किया गया।और नाले के काम रोक कर फिर से नाले को और सटा कर उसके निर्माण की बात कही गई।लेकिन निगम आयुक्त के दिए गए निर्देशों का शत प्रतिशत पालन नहीं किया गया।सिर्फ दिखावे के लिए इंदु चौक में एक पट्टाधारी जो चौक में ही मिले पट्टे से कही अधिक का पक्का निर्माण कर रखा है।उसको बगैर हटाए सामने सामने के टीन के शेड से बने अवैध कब्ज़ा को हटा कर उसकी फोटो लेकर प्रेस विज्ञप्ति बनाकर मीडिया में अपनी सुर्खिया बटोर ली।और अधिकारी के सामने कार्रवाई की भूमिका को बनाकर उनके सामने अपनी पीठ को थपथपा ली गई।लेकिन जब हमने मौके पर जाकर देखा तो वहा की परिस्थिति कुछ और ही बयां कर रही है।आपको बताते चले की निगम के द्वारा बीते बुधवार को निगम ने कार्रवाई की और उसके बाद से आज तक निगम का कोई भी अधिकारी उस जगह में जाकर आगे की कार्रवाई नहीं किया।जबकि आप फोटो से साफ साफ देख सकते है की कैसे सड़क एक बाए तरफ जो नाला का निर्माण किया जा रहा है।
वह अवैध कब्जाधारियों के कब्जे के कितने आगे से बनाया के रहा है।यदि इन कब्जा धारियों से कब्जा हटा दिया जायेगा तो सड़क और चौड़ी हो जायेगी जिससे आने जाने वाले को यहाँ पर किसी तरह की कोई दिक्कत भी नही होगी और साथ ही साथ चौक में ट्रैफिक सिग्नल भी स्पष्ट दिखेगा और आवागमन के लिए सहज और सरल हो जायेगा।लेकिन निगम के अधिकारियों के ये सब क्यों नजर नहीं आ रहा है ये समझ से परे है।
इस मामले में जब उस क्षेत्र के इंजीनियर गोपाल ठाकुर से जानकारी ली तो उन्हनो ने बताया की अभी कार्रवाई बाकी है।नाप जोक का काम बाकी है।जैसे ही नापी हो जायेगा अतिक्रमण को हटा दिया जायेगा।लेकिन हमारी जानकारी के अनुसार उस जगह का नाप जोक पूरा हो गया है।और निगम का नाप जोक का अमला मौके पर जाकर कब्जा धारियों के द्वारा किए गए कब्जा को चिन्हांकित भी कर दिया गया है।लेकिन इंजीनियर साहब की बातों से ऐसा लगता है की जितना तोड़ना था। उतना तोड़ दिए बाकी की क्या जरूरत।अब देखना यह होगा कि निगम के आयुक्त साहब इस विषय पर क्या संज्ञान लेते है। और आगे की क्या कार्रवाई करते है।जो निगम के आला अधिकारी इनके निर्देशो को दरकिनार करके अपनी रोटी सेंकने में लगे है। उन पर क्या निगम आयुक्त की गाज गिरेगी।।
कार्रवाई से होगा चौक का कायाकल्प
निगम का अमला ईमानदारी से अपने अधिकारी और आयुक्त के द्वारा दिए गए निर्देशो का सही तरीके से परिपालन कर कार्रवाई करेगा तो इस बेतरतीब चौक का सही तरीके से काया कल्प करने में अहम भूमिका अदा करेगा।जो आने वाले दिनों में यातायात के लिए एक वरदान साबित होगी।आप इस बेतरतीब चौक में अलग अलग दिशा की और सड़के जाती है।लेकिन कही पर बहुत ही ज्यादा चौड़ी है।और कही पर बहुत ही कम है।इस चौक को और सुंदर और सुगम बनाने के लिए हर संभव प्रयास कर बेजा कब्जाधारियों पर निगम को बगैर कोताही बरते कार्रवाई कर उठने वाले सावलीय निशान को दूर करना चाइए।।