प्राधिकरण के सहयोग से मनोरोगी महिला को भिजवाया गया छत्तीसगढ से तेलंगाना
बिलासपुर–छत्तीसगढ राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण बिलासपुर के द्वारा स्थानीय प्रशासन एवं तेलंगाना राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण हैदराबाद से समन्वय कर राज्य मानसिक चिकित्सालय सेंदरी बिलासपुर में उपचार हेतु भर्ती तेलंगाना निवासी मनोरोगी महिला सुनीता राजा (परिवर्तित नाम) को उसकी दो वर्षीय पुत्री रानी (परिवर्तित नाम) के साथ उसे उसके मूल राज्य तेलंगाना भिजवाया गया, जहां के मानसिक चिकित्सालय में अब उसका इलाज कराया जाएगा।
सदस्य सचिव आनंद प्रकाश वारियाल ने बताया कि सखी वन स्टाप सेंटर गरियाबंद छ.ग. के द्वारा एक मनोरोगी महिला को 20/06/2023 को राज्य मानसिक चिकित्सालय सेंदरी में भर्ती कराया गया था। मनोरोगी मरीज की दो वर्षीय पुत्री को उचित देखरेख के लिए बिलासपुर में संचालित बालगृह ’’मातृछाया’’ में रखवाया गया था। मानसिक चिकित्सालय में मरीज के उपचार में भाषागत समस्या के कारण सुधार नहीं हा रहा था, आंशिक सुधार होने के उपरांत उसके द्वारा स्वयं को ग्राम मालीगेली, जिला करीमनगर, तेलंगाना राज्य का निवासी होना बताया गया। मनोरोगी मरीज की भाषागत समस्या के कारण पर्याप्त सुधार नहीं आना पाते हुए दिनांक 08 जनवरी 2024 को राज्य मानसिक चिकित्सालय सेंदरी बिलासपुर के द्वारा इस प्राधिकरण से मनोरोगी महिला मरीज को राज्य मानसिक स्वास्थ्य हैदराबाद भिजवाने में सहयोग का अनुरोध किया गया था।
इस संवेदनशील मामले में शीध्रता से कार्यवाही करते हुए तेलंगाना राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण से चर्चा और पत्राचार किया गया।दिनांक 19/01/2024 को तेलंगाना राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण हैदराबाद के द्वारा अपने प्रोटोकाल आफीसर श्री अनिल कुमार कर्नन दो महिला आरक्षकों की टीम के साथ बिलासपुर आए। प्राधिकरण के द्वारा बाल कल्याण समिति बिलासपुर से दो वर्षीय बालिका को तेलंगाना राज्य के बालगृह स्थानान्तरित कराने, मनोरोगी महिला को राज्य मानसिक चिकित्सालय सेंदरी बिलासपुर से राज्य मानसिक चिकित्सालय हैदराबाद उपचार हेतु रेफर कराने में स्थानीय प्रशासनिक कार्यवाहियों का समन्वय व अन्य आवश्यक सहयोग उपलब्ध कराया गया। दो राज्यों के राज्य विधिक सेवा प्राधिकरणों की सक्रियता एवं आपसी समन्वय के परिणाम स्वरूप दिनांक 21/01/2024 को मनोरोगी मां व उसकी दो वर्षीय बेटी को उचित देखरेख हेत उनके मूल निवास राज्य तेलंगाना भेजा जा सका।