कलेक्टर ने जनदर्शन में सुनी आम जनता की समस्याएं,आधा दर्जन गरीब लोगों को मिला नया राशनकार्ड
बिलासपुर–कलेक्टर सौरभकुमार ने आज मंगलवार को यहां जिला कार्यालय में आयोजित साप्ताहिक जनदर्शन में बड़ी संख्या में पहुंचे लोगों से मुलाकात कर उनकी समस्याएं सुनी।
उन्होंने तत्काल हो सकने वाले कुछ कामों का जहां जनदर्शन में ही समाधान कर दिया वहीं जांच एवं परीक्षण की जरूरत वाले कुछ गंभीर किस्म के मामलों को टीएल में पंजीकृत करते हुए निराकरण के लिए अधिकारियों को समय-सीमा दी। जनदर्शन में आज कलेक्टर ने 71 मामलों की सुनवाई की। उन्होंने जरूरतमंद छह लोगों को मौके पर ही राशनकार्ड बनवाकर दिये,जिससे वे अत्यंत खुश होकर त्वरित सुनवाई के लिए कलेक्टर को धन्यवाद दिया।
कलेक्टर सौरभकुमार ने आज शहर सहित दूर-दराज से आये ग्रामीणों और किसानों से एक-एक कर मुलाकात कर बड़ी इत्मीनान से उनकी समस्याएं सुनी। बेलगहना तहसील के गांव जरगा की क्षमाबाई यादव ने बताया कि उनके पति के कोरोना से मौत के 15 महीने बाद बाद भी उन्हें सरकार द्वारा दी जाने वाली मुआवजा राशि नहीं मिल पाई है। कलेक्टर ने एसडीएम कोटा को प्रकरण सौंपते हुए जांच कर आवश्यक कार्रवाई करने को कहा है। बिलासपुर शहर के वार्ड क्रमांक 39 के नागरिकों ने सामूहिक आवेदन देकर पम्प हाऊस सार्वजनिक स्थल पर कब्जा कर आम रास्ता बंद कर देने वाले पूर्व पार्षद के विरूद्ध शिकायत की। मामले को टीएल में रखते हुए कलेक्टर ने नगर निगम आयुक्त को कार्रवाई करने निर्देश दिये। तखतपुर तहसील के ग्राम राजपुर निवासी पोलोदास कुर्रे ने ज्ञापन सौंपकर बताया कि आपसी सहमति से भाईयों के बीच बंटवारा होने के 2 साल बाद भी उन्हें ऋण पुस्तिका नहीं दी जा रही है। कलेक्टर ने नाराजगी जाहिर करते हुए एसडीएम को तत्काल ऋण पुस्तिका सौंपने को कहा है।
तखतपुर तहसील के ग्राम राजपुर में जल जीवन मिशन के अंतर्गत गली मोहल्लों में गड्ढा खोदकर महीनों से छोड़ दिया गया है। इसके कारण आदमी के साथ मवेशी भी दुर्घटना के शिकार हो रहे हैं। ईई पीएचई को तत्काल हस्तक्षेप करते हुए मामले का समाधान करने और ठेकेदार के विरूद्ध कार्रवाई कर सूचित करने को कहा है। एनटीपीसी सीपत निवासी अनुराधा खरे ने आरा मिल के नामांतरण के लिए वन विभाग द्वारा दो साल से घुमाने की शिकायत की। डीएफओ को उनका पत्र सौंपते हुए टीएल की बैठक में जवाब प्रस्तुत करने कहा है। जबड़ापारा निवासी रूखमणि सोनी ने अपने पुत्र की नदी में डूबने से हुई मौत के लगभग दो साल बीतने पर भी आर्थिक सहायता राशि नहीं मिलने की जानकारी दी। कलेक्टर ने एसडीएम बिलासपुर को मामले का परीक्षण कर समय-सीमा में रिपोर्ट प्रस्तुत करने कहा है।